नासा ने ऐलान किया है कि भारतीय मूल की अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स समेत दो अंतरिक्ष यात्रियों को लेकर बोइंग का स्टारलाइनर स्पेसक्राफ्ट 1 जून को अपनी पहली उड़ान भरेगा। यह यान अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (आईएसएस) तक जाना है।
नासा ने एक बयान में कहा कि नासा, बोइंग और यूनाइटेड लॉन्च अलायंस (यूएलए) के मिशन मैनेजर आईएसएस के लिए बोइंग के क्रू फ्लाइट टेस्ट (सीएफटी) के प्रक्षेपण के विकल्पों का आकलन कर रहे हैं। उम्मीद है कि 1 जून शनिवार की दोपहर 12:25 बजे ईटी को फ्लोरिडा के केप कनेवरल से इसकी लॉन्चिंग की जा सकती है।
नासा ने आगे कहा कि हालांकि किसी वजह से ऐसा नहीं हो पाया तो 2 जून, 5 जून और 6 जून को भी लॉन्च विंडो उपलब्ध रहेगी। इस यान की उड़ान 7 मई के लिए निर्धारित थी, हालांकि स्टारलाइनर के सर्विस मॉड्यूल पर हीलियम रिसाव के कारण लॉन्चिंग स्थगित करनी पड़ी थी।
बोइंग के स्टारलाइनर स्पेसक्राफ्ट का उद्देश्य नासा की अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स और बैरी विल्मोर को महत्वपूर्ण परीक्षण के लिए आईएसएस पर ले जाना है। दोनों करीब दो हफ्ते तक अंतरिक्ष में घूमती लैब आईएसएस में रहेंगे और नए यान व उसके उपकरणों को परखेंगे। यह नासा क्रू की आईएसएस पर नियमित आवाजाही के लिए स्टारलाइनर के इस्तेमाल के लिए महत्वपूर्ण है।
बोइंग स्टारलाइनर के क्रू टेस्ट फ्लाइट (सीएफटी) मिशन को एटलस 5 रॉकेट के ऊपरी चरण में वाल्व की खराबी के कारण 7 मई को निर्धारित लॉन्च से केवल दो घंटे पहले रोक दिया गया था। बाद में बोइंग ने खराब वाल्व को बदलने की बात कही थी।
14 मई को नासा ने बताया था कि 17 मई के लिए निर्धारित सीएफटी मिशन को 21 मई से पहले लॉन्च किया जाएगा। इसकी वजह यान के सर्विस मॉड्यूल में हीलियम के रिसाव को बताया गया। हालांकि 17 मई को स्पेस एजेंसी ने लॉन्च की तारीख 25 मई तक टाल दी। अब इसे 1 जून को लॉन्च करने का ऐलान किया गया है।
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