भारतीय विदेश मंत्री एस जयशंकर करीब एक दशक में पहली बार पाकिस्तान की यात्रा पर मंगलवार को इस्लामाबाद पहुंच गए। वह शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) की बैठक में हिस्सा लेने के लिए गए हैं, जो बुधवार को होगी।
भारत और पाकिस्तान के बीच ठंडे रिश्तों के बीच भारत से कोई विदेश पिछले एक दशक में पाकिस्तान नहीं गया है। हालांकि पिछले साल भारत में हुई एससीओ की बैठक में हिस्सा लेने के लिए पाकिस्तानी विदेश मंत्री बिलावल भुट्टो भारत आए थे। जयशंकर की इस यात्रा को उसी का परिणाम माना जा रहा है।
इस्लामाबाद पहुंचे जयशंकर ने पाकिस्तानी प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ से हाथ मिलाया और संक्षिप्त बातचीत की। ये मुलाकात उस समय हुई जब शरीफ सम्मेलन से पहले रात्रिभोज में एससीओ नेताओं का स्वागत कर रहे थे। हालांकि दोनों पक्षों ने कहा है कि द्विपक्षीय बैठक की कोई योजना नहीं है।
रूस और चीन द्वारा 2001 में गठित यूरेशियाई सुरक्षा एवं राजनीतिक समूह एससीओ की बैठक पिछले कुछ वर्षों में संकटग्रस्त दक्षिण एशियाई राष्ट्र पाकिस्तान द्वारा आयोजित सबसे बडा आय़ोजन है।
इस्लामाबाद में हो रही इस बैठक में हिस्सा लेने के लिए करीब एक दर्जन नेता पाकिस्तान पहुंच चुके हैं। इनमें चीन के प्रधानमंत्री ली कियांग और रूस के मिखाइल मिशुस्तिन शामिल हैं। किर्गिस्तान, ताजिकिस्तान, कजाकिस्तान, बेलारूस और मंगोलिया के प्रधानमंत्री भी इस्लामाबाद आ चुके हैं।
एससीओ की मुख्य बैठक बुधवार को होगी। बैठक में अर्थव्यवस्था और व्यापार के क्षेत्र में सहयोग पर चर्चा होगी। पर्यवेक्षकों का मानना है कि एससीओ का उद्देश्य क्षेत्र में पश्चिमी प्रभाव का मुकाबला करना है।
Landed in Islamabad to take part in SCO Council of Heads of Government Meeting. pic.twitter.com/PQ4IFPZtlp
— Dr. S. Jaishankar (@DrSJaishankar) October 15, 2024
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