अमेरिका में भारतीय छात्र की हथौड़ा मारकर हत्या के मामले में अटलांटा स्थित भारतीय महावाणिज्य दूतावास (सीजीआई) ने शोक व्यक्त करते हुए कड़ी निंदा की है। दूतावास ने छात्र की हत्या की कड़ी निंदा की है और पीड़ित परिवार को हरसंभव सहायता मुहैया कराने का आश्वासन दिया।
बता दें कि एमबीए की पढ़ाई कर रहे विवेक सैनी की हाल ही में जॉर्जिया के लिथोनिया में करीब 50 बार हथौड़ा मारकर बेरहमी से हत्या कर दी गई थी। इस हत्याकांड को जूलियन फॉकनर नाम के शख्स ने अंजाम दिया था। जूलियन बेघर था और नशेबाजी करता था। विवेक जिस शेवरॉन फूड मार्ट में पार्टटाइम नौकरी करता था। उसे जूलियन पर दया दिखाते हुए उसकी मदद की थी।
रिपोर्टस के अनुसार, जूलियन ड्रग्स के आदी था। उसका पारा उस समय सातवें आसमान पर पहुंच गया, जब विवेक ने उसे खाना देने से मना कर दिया। इससे गुस्साए जूलियन ने 16 जनवरी को विवेक पर हथौड़े से ताबड़तोड़ वार किए। हरियाणा के पंचकूला के रहने वाले विवेक की मौके पर ही मौत हो गई। घटना के बाद जूलियन को गिरफ्तार कर लिया गया।
The Consulate got in touch with the family of Mr Saini immediately after the incident, provided all consular assistance in sending the mortal remains back to India, and remains in touch with the family. 2/2@MEAIndia @IndianEmbassyUS
— India in Atlanta (@CGI_Atlanta) January 29, 2024
इस घटना को लेकर अटलांटा स्थित भारतीय महावाणिज्य दूतावास ने सोशल मीडिया पर लिखा कि हम इस भयानक, क्रूर और जघन्य घटना से बहुत दुखी हैं जिसकी वजह से भारतीय छात्र विवेक सैनी की मौत हो गई है। हम हमले की कड़े शब्दों में निंदा करते हैं। दूतावास ने बताया कि हमने घटना के तुरंत बाद सैनी के परिवार से संपर्क किया और उनके पार्थिव शरीर को भारत भेजने में सभी तरह की राजनयिक सहायता प्रदान की। हम परिवार के संपर्क में हैं। अमेरिकी अधिकारी पूरे मामले की जांच कर रहे हैं।
गौरतलब है कि भारत से बड़ी संख्या में छात्र अमेरिका में पढ़ाई करने के लिए आते हैं। पिछले महीने भारतीय विदेश मंत्रालय ने बताया था कि 2018 के बाद से विदेश में पढ़ने वाले 403 भारतीय छात्र अपनी जान गंवा चुके हैं। इनमें प्राकृतिक कारणों, स्वास्थ्य समस्याओं और दुर्घटनाओं जैसी कई वजहें शामिल हैं। विदेश मंत्रालय के आंकड़ों बताते हैं कि कनाडा में सबसे ज्यादा 91 भारतीय छात्रों की मौत हुई है। अमेरिका, रूस, यूनाइटेड किंगडम और ऑस्ट्रेलिया जैसे देशों में भी हताहतों की संख्या महत्वपूर्ण है।
विदेशों में भारतीय छात्रों की सुरक्षा को लेकर नरेंद्र मोदी सरकार की प्रतिबद्धता को विदेश राज्य मंत्री वी मुरलीधरन ने हाल ही में रेखांकित किया था। उन्होंने कहा था कि हमारे मिशन और पोस्ट सतर्क रहते हैं और छात्रों की भलाई पर पैनी नजर रखते हैं। कोई अप्रिय घटना होने पर संबंधित देश के अधिकारियों के सामने तुरंत मामला उठाया जाता है ताकि सुनिश्चित किया जा सके कि घटना की ठीक से जांच हो और अपराधियों को सजा मिले।
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