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भारत में सभी लोकसभा निर्वाचन क्षेत्रों के परिणाम घोषित, बीजेपी सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी

कुल मिलाकर, केवल 240 सीटें जीतने के बाद बीजेपी 272 के बहुमत के आंकड़े से दूर रही। हालांकि NDA को पूर्ण बहुमत मिला है। बीजेपी अपने सहयोगियों के साथ मिलकर सरकार बनाने में पूरी तरह से सक्षम है।

चुनाव आयोग ने कहा है कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने 240 सीटें जीती हैं, जबकि कांग्रेस को 99 सीटें मिली हैं। कुल 543 सीटों पर चुनाव हुए थे। / @ECISVEEP

भारत के ऐतिहासिक सात चरणों वाले लोकसभा चुनाव आखिरकार भारत के चुनाव आयोग द्वारा 4 जून को परिणाम घोषित करने के बाद समाप्त हो गए। चुनाव आयोग ने कहा है कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने 240 सीटें जीती हैं, जबकि कांग्रेस को 99 सीटें मिली हैं। कुल 543 सीटों पर चुनाव हुए थे।

भारत के राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में 4 जून की सुबह मतगणना शुरू हुई। शुरुआत में बीजेपी के नेतृत्व वाले सत्तारूढ़ राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) को भारी जीत की ओर बढ़ते हुए दिखाई दिया। हालांकि, जैसे-जैसे घंटे बीतते गए, नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार के लिए चीजें मुश्किल होती गईं, क्योंकि I.N.D.I.A. ब्लॉक ने कड़ा मुकाबला दिया।

हालांकि लोकसभा में 543 सदस्य हैं। बीजेपी के सूरत उम्मीदवार मुकेश दलाल के निर्विरोध निर्वाचित होने के बाद 542 सीटों के लिए मतगणना हुई। घोषित होने वाला अंतिम परिणाम महाराष्ट्र के बीड निर्वाचन क्षेत्र का था, जहां शरदचंद्र पवार की पार्टी एनसीपी के उम्मीदवार बजरंग मनोहर सोनवने ने बीजेपी के पंकजा मुंडे को 6,553 वोटों से हराया।

कुल मिलाकर, केवल 240 सीटें जीतने के बाद बीजेपी 272 के बहुमत के आंकड़े से दूर रही। केंद्र में सरकार बनाने का दावा करने के लिए उन्हें NDA में अपने सहयोगियों के समर्थन की आवश्यकता है। बीजेपी की प्रमुख सहयोगियों में आंध्र प्रदेश से एन चंद्रबाबू नायडू की TDP और बिहार में नीतीश कुमार की JD(U) है। इसके अलावा अन्य गठबंधन भागीदारों के समर्थन से NDA पूर्ण बहुमत हासिल करनें में कामयाब रहा। TDP ने आंध्र प्रदेश में 16 सीटें जीतीं हैं। वहीं JD(U) को बिहार में 12 सीटें मिली हैं।

दो राज्य जो NDA के लिए एक बड़ा झटका साबित हुए, वे हैं महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश। महाराष्ट्र में, कांग्रेस ने 13 सीटें जीतीं, शिवसेना (UBT) ने नौ और शरद पवार की एनसीपी ने आठ सीटें जीतीं। बीजेपी के नेतृत्व वाले गठबंधन को केवल 17 सीटों पर संतोष करना पड़ा। उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी ने 37 सीटें जीतीं, जो इस प्रदेश में सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी। कांग्रेस को छह सीटें मिलीं। बीजेपी जिसने 2014 और 2019 में भारी जीत हासिल की थी, वह केवल 33 सीटें ही जीत पाई। हालांकि, एग्जिट पोल ने इस बार बीजेपी के नेतृत्व वाले NDA की भारी जीत की भविष्यवाणी की थी। सात चरणों में 19 अप्रैल से 1 जून तक चुनाव हुए। 64 करोड़ से अधिक वोटों की गिनती की गई।

लोकसभा चुनावों में सभी पार्टियों के प्रदर्शन की रिपोर्ट इस तरह से है :
बीजेपी: 240 सीटें
कांग्रेस: 99 सीटें
समाजवादी पार्टी: 37 सीटें
तृणमूल कांग्रेस: 29 सीटें
डीएमके: 22 सीटें
टीडीपी: 16 सीटें
जेडी(यू): 12 सीटें
शिवसेना (उद्धव ठाकरे): 9 सीटें
एनसीपी (शरद पवार): 8 सीटें
शिवसेना: 7 सीटें
लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास): 5 सीटें
वाईएसआरसीपी: 4 सीटें
आरजेडी: 4 सीटें
सीपीआई(एम): 4 सीटें
इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग: 3 सीटें
आप: 3 सीटें
झारखंड मुक्ति मोर्चा: 3 सीटें
जनसेना पार्टी: 2 सीटें
सीपीआई (एमएल)(एल): 2 सीटें
जेडी (एस): 2 सीटें
विदुथलाई चि़रुथैगल कच्छि: 2 सीटें
सीपीआई: 2 सीटें
आरएलडी: 2 सीटें
नेशनल कांफ्रेंस: 2 सीटें
यूनाइटेड पीपल्स पार्टी, लिबरल: 1 सीट
असम गण परिषद: 1 सीट
हिन्दुस्तानी अवाम मोर्चा (सेक्युलर): 1 सीट
केरला कांग्रेस: 1 सीट
रेवोल्यूशनरी सोशलिस्ट पार्टी: 1 सीट
एनसीपी: 1 सीट
वॉयस ऑफ द पीपल पार्टी: 1 सीट
जोरम पीपल्स मूवमेंट: 1 सीट
शिरोमणि अकाली दल: 1 सीट
राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी: 1 सीट
भारत आदिवासी पार्टी: 1 सीट
सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा: 1 सीट
एमडीएमके: 1 सीट
आजाद समाज पार्टी (कांशी राम): 1 सीट
अपना दल (सोनैलाल): 1 सीट
एजेएसयू पार्टी: 1 सीट
एआईएमआईएम: 1 सीट
स्वतंत्र: 7 सीटें

 

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