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'शिकागो हिंदू महोत्सव' के नवरात्रि रास गरबा उत्सव में शामिल हुए सांसद राजा कृष्णमूर्ति

रास गरबा और डांडिया की मधुर ध्वनियों और पारंपरिक परिधानों में सजे प्रतिभागियों ने संगीत की धुनों पर जोश और उमंग के साथ नृत्य किया। राजा कृष्णमूर्ति ने न केवल इस आयोजन में उपस्थिति दर्ज कराई, बल्कि उन्होंने अम्बे माता की पूजा अर्चना भी की। सक्रिय रूप से कार्यक्रम में भाग लिया।

'शिकागो हिंदू महोत्सव' ने 15वां सालाना नवरात्रि रास गरबा उत्सव धूमधाम से मनाया। / Global Indian Diaspora Foundation

'शिकागो हिंदू महोत्सव' ने 15वां सालाना नवरात्रि रास गरबा उत्सव धूमधाम से मनाया। शनिवार को उत्सव के तीसरे दिन 1,000 से ज्यादा लोग शामिल हुए। लोगों ने सांस्कृतिक और धार्मिक नवरात्रि रास गरबा उत्सव का आनंद लिया। इस अवसर पर अमेरिकी कांग्रेस के सदस्य राजा कृष्णमूर्ति ने भी शिरकत की। इससे शिकागो के हिंदू समुदाय में खुशी का माहौल बन गया। उन्होंने श्रद्धा और भक्ति से नवरात्रि के पवित्र पर्व को मनाया।

रास गरबा और डांडिया की मधुर ध्वनियों और पारंपरिक परिधानों में सजे प्रतिभागियों ने संगीत की धुनों पर जोश और उमंग के साथ नृत्य किया। राजा कृष्णमूर्ति ने न केवल इस आयोजन में उपस्थिति दर्ज कराई, बल्कि उन्होंने अम्बे माता की पूजा अर्चना भी की। सक्रिय रूप से कार्यक्रम में भाग लिया।इससे साफ हो गया कि उनके दिल में भारत की सांस्कृतिक एकता और हिंदू परंपराओं के लिए गहरा सम्मान है।

सभा को संबोधित करते हुए कृष्णमूर्ति ने कहा, 'नवरात्रि केवल हमारी प्राचीन परंपराओं का उत्सव ही नहीं है, बल्कि यह हमें हिंदू धर्म की एकता और विविधता की याद दिलाता है। जब परिवार और समुदाय एक साथ आते हैं, तो नवरात्रि हमें सामंजस्य और हमारी सांस्कृतिक पहचान का गर्वपूर्वक उत्सव मनाने की प्रेरणा देती है।'

राजा कृष्णमूर्ति ने न केवल इस आयोजन में उपस्थिति दर्ज कराई, बल्कि उन्होंने अम्बे माता की पूजा अर्चना भी की। / Global Indian Diaspora Foundation

इस अवसर पर ग्लोबल इंडियन डायस्पोरा फाउंडेशन के अध्यक्ष राकेश मल्होत्रा ने नवरात्रि और रास गरबा के महत्व पर जोर देते हुए कहा, 'यह उत्सव हमारे समुदाय के लिए एक साथ आने का एक अद्भुत मौका है। यह हमें अपनी जड़ों से जोड़ता है। हमारी समृद्ध सांस्कृतिक विरासत का जश्न मनाने का मौका देता है। हमारी नई पीढ़ी को हमारे मूल्यों से अवगत कराता है। नवरात्रि हमें अपनी पहचान, एकता और सांस्कृतिक गर्व को जीने और आगे बढ़ाने का प्रेरणादायक त्योहार है।'

शिकागोलैंड के प्रमुख सामुदायिक नेताओं ने भी इस उत्सव में शिरकत की। इससे पता चलता है कि ये कार्यक्रम इस क्षेत्र का एक महत्वपूर्ण सांस्कृतिक समारोह बन गया है। शिकागो हिंदू महोत्सव के संस्थापक शैलेश राजपूत के मुताबिक, इस उत्सव में पारंपरिक नृत्य, स्वादिष्ट खाना और समुदाय की एकता का जोश भरा हुआ था। इसने नवरात्रि की वास्तविक भावना को जीवंत कर दिया। उन्होंने कहा, 'इस कार्यक्रम की ऊर्जा और भक्ति का माहौल नवरात्रि की परिभाषा को स्पष्ट रूप से प्रकट करता है।'

कृष्णमूर्ति ने कहा, 'नवरात्रि केवल हमारी प्राचीन परंपराओं का उत्सव ही नहीं है, बल्कि यह हमें हिंदू धर्म की एकता और विविधता की याद दिलाता है। / Global Indian Diaspora Foundation

उन्होंने आगे कहा कि शिकागो हिंदू महोत्सव संगठन भारतीय अमेरिकी समुदाय के भीतर सांस्कृतिक आदान-प्रदान को बढ़ावा देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। शैलेश राजपूत ने कहा, 'वर्षों से शिकागो हिंदू महोत्सव हमारी समुदाय के लिए एक मुख्य आधार बन गया है। यह भारतीय और अमेरिकी सांस्कृतिक आयोजनों की मेजबानी करता है। हम परंपराओं को जोड़ने और हमारी विरासत, हमारे अमेरिकी साथी नागरिकों के साथ साझा मूल्यों का उत्सव मनाने का लक्ष्य रखते हैं।

'इस वर्ष का नवरात्रि रास गरबा 12 अक्टूबर तक ब्लूमिंगडेल में जारी रहेगा। इससे संस्कृति और एकता के इस उत्सव में समुदाय को एक साथ आने का और भी अधिक अवसर मिलेगा। शैलेश और बेला राजपूत ने 2009 में शिकागो हिंदू महोत्सव की शुरुआत की। इसका उद्देश्य हिंदू परंपराओं का उत्सव मनाना, समुदाय की एकता को बढ़ावा देना और 'वसुधैव कुटुंबकम' जैसे मूल्यों को बनाए रखने वाले सांस्कृतिक कार्यक्रमों और त्योहारों का आयोजन करना है। अपने कार्यक्रमों के माध्यम से यह समूह हिंदू संस्कृति को भावी पीढ़ियों तक पहुंचाने और मातृभूमि और कर्मभूमि दोनों के प्रति सम्मान बढ़ाने का प्रयास करता है।

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